@ लोकायुक्त की नियुक्ति जरूरी…
★सरकार को नहीं दिया 6 महीने का समय तो तीन महीने में राज्य में करनी होगी लोकायुक्त नियुक्ति..
★सरकार कोर्ट से मांग रही थी समय…
★रिपोर्ट– ( सुनील भारती ) “स्टार खबर ” नैनीताल….
नैनीताल -आज माननीय उत्तराखंड उच्च न्यायालय नैनीताल द्वारा उत्तराखंड राज्य में लोकायुक्त की नियुक्ति की मांग के लिए गौलापार निवासी “रविशंकर जोशी” द्वारा दायर जनहित याचिका में प्रदेश सरकार के दो प्रार्थना पत्रों पर सुनवाई की गई। पूर्व मे दिनांक 27 जून 2023 को माo उच्च न्यायालय ने उत्तराखंड में आठ सप्ताह में लोकायुक्त की नियुक्ति करने का आदेश जारी किया गया था तथा साथ ही यह आदेश भी दिए गए थे कि लोकायुक्त की नियुक्ति होने तक लोकायुक्त संस्था के खाते से एक रुपया भी खर्च नहीं किया जाए।
उत्तराखंड सरकार द्वारा आज माo न्यायालय के समक्ष एक प्रार्थना पत्र देकर लोकायुक्त की नियुक्ति हेतु छः माह का अतिरिक्त समय मांगा गया, परंतु माo न्यायालय द्वारा केवल 3 माह का अतिरिक्त समय दिया गया और कहा गया कि इसके अतिरिक्त और समय वृद्धि नही होगी।
दूसरे प्रार्थना पत्र से उत्तराखंड सरकार द्वारा कार्मिकों की दुहाई देते हुए माननीय न्यायालय के पूर्व के आदेश को संशोधन करने की मांग करते हुए लोकायुक्त-संस्था के खातों पर लगी रोक को हटाने की प्रार्थना की गई जिसे माननीय न्यायालय द्वारा अस्वीकार कर दिया गया। माननीय न्यायालय द्वारा कहा गया कि सरकार इस संस्था में कार्यरत कार्मिकों से दूसरे विभागों में कार्य ले सकती है और उनके वेतन इत्यादि उसी संबंधित विभाग से जारी कर सकती है।लोकायुक्त की नियुक्ति हेतु समय वृद्धि प्रार्थना पत्र में उत्तराखंड सरकार द्वारा बताया गया कि वर्तमान में प्रभावी लोकायुक्त अधिनियम-2014 के प्रावधानों के अनुसार 5 सदस्यीय चयन-समिति के 4 सदस्यों का चयन हो चुका है, जिसमे माननीय मुख्य न्यायाधीश द्वारा अपने प्रतिनिधि के रूप में न्यायमूर्ति मनोज कुमार तिवारी को नामित किया गया है। यही 4 सदस्य समिति का पांचवा सदस्य चुनेंगे। फिर इस 05 सदस्यों वाली समिति द्वारा एक सर्च (search) समिति बनाएगी जो विभिन्न नाम सुझाएगी। उसके बाद ही लोकायुक्त की नियुक्ति होगी।