4365 घरों पर टूटने का खतरा..हाईकोर्ट से भी नहीं मिली राहत..

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नैनीताल – हल्द्वानी में रेलवे की जमीन पर 4365 अतिक्रमणकारियों को हाई कोर्ट से राहत नहीं मिल सकी है। चीफ जस्टिस कोर्ट ने याचिका पर तत्काल सुनवाई पर इंकार करते हुए पहले अन्य बेंच द्वारा सुरक्षित रखे फैसले को डिलीवर होने को कहा है।अतिक्रमणकारियों ने सुरक्षित रखे याचिका के फैसले से पहले विस्थापन करने की मांग की है और उस निर्णय पर रोक लगाने की मांग की है। आपको बतादें की हल्द्वानी के रविशंकर जोशी की जनहित याचिका पर हाई कोर्ट ने 9 नवम्बर 2016 को अतिक्रमण हटाने के आदेश दिए थे। जिसके बाद अतिक्रमणकारियों ने सुप्रीम कोर्ट की सरण ली तो कोर्ट ने तीन महीने में अतिक्रमणकारियों के प्रार्थना पत्रों की सुनवाई के बाद कार्रवाई के आदेश दिए थे जिजके बाद 6 मार्च 2017 को हाई कोर्ट ने फिर रेलवे को अतिक्रमण हटाने के आदेश दे दिए। लेकिन रेलवे हाई कोर्ट में समय की मांग को लेकर आई तो 31 मार्च 2020 तक सभी सुनवाई पूरी कर लें। लेकिन अब तक कार्रवाई नहीं होने पर हाई कोर्ट में अवमानना याचिका दाखिल की तो रेलवे ने कोर्ट ने समय की मांग की है कि उनको कुछ समय और दिया जाए। इसी बीच याचिकाकर्ता ने नई याचिका दाखिल की जिस पर हाई कोर्ट ने अतिक्रमण हटाने का प्लान पूछा जिसके बाद कोर्ट ने इस याचिका पर फैसला सुरक्षित रख दिया है। हाईकोर्ट वकील राजीव बिष्ट ने कहा कि राज्य कोर्ट ने फिलहार कोई राहत अतिक्रमणकारियों को नहीं दी है और निचली अदालत के फैसले का इंतजार करने को कहा है फैसला आने के बाद ही कोर्ट कोई निर्णय लेगा..