उत्तराखंड उच्च न्यायालय ने आदेश का अनुपालन न किये जाने पर प्रदेश सरकार पर लगाया 20 हज़ार का जुर्माना…
सरोवर नगरी नैनीताल में तल्लीताल के कृष्णापुर क्षेत्र को मुख्य सड़क से जोड़ने की मांग को लेकर हाईकोर्ट में दस माह पूर्व एक जनहित याचिका दायर की गई थी।गत वर्ष 29 जून को हाईकोर्ट ने सरकार ( लोक निर्माण विभाग) से इस संबंध में चार हफ्ते के भीतर स्टेट्स रिपोर्ट कोर्ट में पेश करने के निर्देश दिए थे। किंतु हीलाहवाली के चलते यह रिपोर्ट अब तक भी कोर्ट में पेश नहीं की गई। जिस पर मुख्य न्यायाधीश विपिन सांघी की अध्यक्षता वाली खण्डपीठ ने लोक निर्माण विभाग के सम्बन्धित इंजीनियर पर 20 हजार का अर्थदण्ड लगाया है। कोर्ट ने निर्देश दिया है कि जुर्माना जमा होने के बाद ही स्टेट्स रिपोर्ट कोर्ट में पेश की जाय।
वरिष्ठ नागरिकों,मरीजों व गर्भवती महिलाओं सहित चार हज़ार की आबादी को जिला मुख्यालय आने में हो रही परेशानी…
आपकों बता दे कि कृष्णापुर के पूर्व सभासद डी एन भट्ट ने हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर कर कहा कि कृष्णापुर को नैनीताल से जोड़ने वाला मार्ग रईस होटल के समीप हुए भूस्खलन में बह गया था।चार हजार से अधिक आबादी वाले उक्त क्षेत्र के स्कूली बच्चे,कर्मचारी व अन्य लोग जेल मार्ग की ओर से पैदल ही नैनीताल आ रहे हैं। किंतु वरिष्ठ नागरिकों,मरीजों व गर्भवती महिलाओं को वीरभट्टी- ज्योलीकोट होते हुए नैनीताल जाना पड़ रहा है।वर्षा काल मे कृष्णापुर व वीरभट्टी के बीच का मार्ग भी अवरुद्ध हो जाता है। जिससे आपातकालीन स्थिति में सड़क मार्ग तक पहुंचना बहुत मुश्किल हो जाता है।इसीलिए हाईकोर्ट के निर्देश पर लोक निर्माण विभाग नैनीताल ने हल्द्वानी रोड में कूड़ा खड्ड से कृष्णापुर को सम्पर्क मार्ग से जोड़ने का प्रस्ताव बनाया था।