नैनीताल – रुद्रपुर नगर निगम ने पहले तो सरकारी जमीन पर कब्जा कर अवैध निर्माण कर दिया और जब उसको वैध करने निकला तो 1 करोड़ 71 लाख का जुर्माना नगर निगम पर लग गया अब निगम सरकारी खजाने से इसे भरने की तैयारी करता लेकिन हाई कोर्ट में याचिका दाखिल हो गयी कि इस पैंसे को दोषी अधिकारियों से वसूला जाय और जनता के पैंसे से जुर्माना ना दिया जाए।
दरअसल रुद्रपुर में नगर निगम द्वारा नजूल भूमि पर अवैध निर्माण और नालों में तैयार किये शौचालयों हाई कोर्ट ने गंभीर संज्ञान लिया है। चीफ जस्टिस कोर्ट ने सरकार डीएम उधम सिंह नगर और नगर निगम के साथ नगर आयुक्त विशाल मिश्रा को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है कोर्ट ने पूछा है कि क्यों ये हुआ। कोर्ट ने बेगुल नदी में फैंके जा रहे कूड़े और उससे बने पहाड़ से फैल रहे प्रदूषण पर भी नगर निगम से जवाब मांगा है। हालांकि नगर निगम ने 3 महीने में कूड़ा साफ करने और अन्य इलाके में कूड़ा निस्तारण प्लांट बनाने की जानकारी कोर्ट में दी है। दरअसल पूर्व सभासद रामबाबूने हाई कोर्ट में जनहित याचिका दाखिल कर कहा है कि बेगुल नदी में कूड़े का पहाड़ बन गया है जिससे बीमारियों के साथ प्रदूषण फैल रहा है। याचिका में आरोप है कि निगम द्वारा नालों के ऊपर शौचालय बना दिये गए हैं जो गलत है। वहीं हाई कोर्ट में दाखिल याचिका में कहा गया है कि नगर निगम द्वारा नजूल भूमि पर कब्जा कर बड़ा निर्माण कर दिया गया है। प्राधिकरण ने इस पर रोक लगा दी तो निगम ने कंपाउंडिंग करने को कहा लेकिन जिला विकास प्राधिकरण ने करीब 1 करोड़ 72 लाख का जुर्माना ठोक दिया। याचिका में मांग की गई है कि जुर्माने के पैंसा जनता के टैक्स से ना दिया जाए और दोषी अधिकारियों से इसकी वसूली की जाए, वहीं नदी को साफ करने की मांग की गई है।